Tuesday, April 30, 2024
Homeजानकारियाँशिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं- चांद पर ये दो जगहें अब...

शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं- चांद पर ये दो जगहें अब भारत की पहचान

शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं- चांद पर ये दो जगहें अब भारत की पहचान

शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं- शिवशक्ति पॉइंट वह स्थान है जहाँ चंद्रयान-3 का लैंडर 23 अगस्त, 2023 को चांद के दक्षिणी ध्रुव पर सफलतापूर्वक उतर गया। इस स्थान को “शिवशक्ति” नाम दिया गया है क्योंकि शिव को शक्ति और विनाश का देवता माना जाता है। यह नाम यह दर्शाता है कि भारत अंतरिक्ष अनुसंधान के क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए दृढ़ संकल्पित है।

तिरंगा पॉइंट वह स्थान है जहाँ चंद्रयान-2 का ऑर्बिटर 7 सितंबर, 2019 को चांद की सतह से टकराया था। इस स्थान को “तिरंगा” नाम दिया गया है क्योंकि यह भारत के राष्ट्रीय ध्वज का प्रतीक है। यह नाम भारत की अंतरिक्ष यात्रा के इतिहास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर को याद दिलाता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 26 अगस्त, 2023 को बेंगलुरु में इसरो के वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए इन दोनों स्थानों का नामकरण किया था। उन्होंने कहा कि ये नाम भारत के अंतरिक्ष अनुसंधान की उपलब्धियों को याद दिलाते हैं और आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करते हैं। शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट भारत की अंतरिक्ष यात्रा में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हैं। ये नाम भारत के अंतरिक्ष अनुसंधान कार्यक्रम की प्रगति और महत्व को दर्शाते हैं।

चांद पर तिरंगा पॉइंट क्‍या है

चांद पर तिरंगा पॉइंट वह स्थान है जहाँ चंद्रयान-2 का ऑर्बिटर 7 सितंबर, 2019 को चांद की सतह से टकराया था। चंद्रयान-2 भारत का दूसरा चंद्रयान अभियान था, जिसने 14 सितंबर, 2019 को चांद की सतह पर लैंडिंग का प्रयास किया था। हालांकि, लैंडिंग के दौरान एक तकनीकी खराबी के कारण लैंडर चंद्रमा की सतह से टकराया। तिरंगा पॉइंट चांद के दक्षिणी ध्रुव के पास स्थित है। शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं

 

इसका नाम भारत के राष्ट्रीय ध्वज के नाम पर रखा गया है। यह स्थान भारत की अंतरिक्ष यात्रा के इतिहास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। तिरंगा पॉइंट भारत के अंतरिक्ष अनुसंधान कार्यक्रम की प्रगति और महत्व को दर्शाता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 26 अगस्त, 2023 को बेंगलुरु में इसरो के वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए तिरंगा पॉइंट का नामकरण किया था। उन्होंने कहा कि यह नाम भारत के अंतरिक्ष अनुसंधान की उपलब्धियों को याद दिलाता है और आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करता है। शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं

  • अक्षांश: -67.68502
  • देशांतर: 19.01057

यह स्थान चांद की सतह से लगभग 3,800 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है।

23 अगस्‍त को मनेगा नैशनल स्‍पेस डे

23 अगस्त को भारत में राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस मनाया जाएगा। यह दिन चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग की याद में मनाया जाता है। चंद्रयान-3 भारत का तीसरा चंद्रयान अभियान था, जिसने 23 अगस्त, 2023 को चांद के दक्षिणी ध्रुव पर सफलतापूर्वक लैंडिंग की। यह भारत के लिए एक ऐतिहासिक उपलब्धि थी, क्योंकि यह पहली बार था जब भारत ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर उतरने में सफलता प्राप्त की थी। राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस के अवसर पर, भारत सरकार और भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) द्वारा विभिन्न कार्यक्रमों और समारोहों का आयोजन किया जाता है। इन कार्यक्रमों और समारोहों का उद्देश्य भारत के अंतरिक्ष अनुसंधान के बारे में लोगों को जागरूक करना और उन्हें प्रेरित करना है।

23 अगस्त को मनाया जाने वाला राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस भारत के अंतरिक्ष अनुसंधान कार्यक्रम की प्रगति और महत्व को दर्शाता है। यह दिन भारत के वैज्ञानिकों और इंजीनियरों की उपलब्धियों को भी याद दिलाता है, जिन्होंने भारत को अंतरिक्ष शक्ति के रूप में स्थापित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

चंद्रयान 3 Landing Photos

जहां चंद्रयान 2 ने छोड़े निशान वो कहलाएगा तिरंगा पॉइंट

चंद्रयान-2 का लैंडर विक्रम 7 सितंबर, 2019 को चांद की सतह से टकराया था। इस स्थान को अब “तिरंगा पॉइंट” कहा जाएगा। यह नाम भारत के राष्ट्रीय ध्वज का प्रतीक है। यह नाम भारत की अंतरिक्ष यात्रा के इतिहास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर को याद दिलाता है।

शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट Photos

शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं- चांद पर ये दो जगहें अब भारत की पहचान

शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं- चांद पर ये दो जगहें अब भारत की पहचान

शिवशक्ति और तिरंगा पॉइंट क्‍या हैं- चांद पर ये दो जगहें अब भारत की पहचान

RELATED ARTICLES
0 0 votes
Article Rating
Subscribe
Notify of
guest

0 Comments
Inline Feedbacks
View all comments

Most Popular