Tuesday, April 30, 2024
Homeजानकारियाँहज़रत मूसा अलैहिस्सलाम की कहानी और समंदर वाला वाक़्या

हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम की कहानी और समंदर वाला वाक़्या

हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम की कहानी और समंदर वाला वाक़्या- हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम पैगंबरों में से एक हैं जिनका ज़िक्र कुरआन और बाइबल दोनों में मिलता है। हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम, जिन्हें कलीमुल्लाह (अल्लाह से बात करने वाले) के नाम से भी जाना जाता है, अल्लाह के सबसे महान नबियों में से एक हैं। उनकी जीवन यात्रा अनेक चमत्कारों और अद्भुत घटनाओं से भरी हुई है, जो ईमान और धैर्य की प्रेरणा देती हैं।

जन्म और बचपन

हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम की कहानी और समंदर वाला वाक़्या- मूसा अलैहिस्सलाम का जन्म मिस्र में बनी इसराईल कौम में हुआ था। उस समय फिरौन नामक एक ظالم शासक मिस्र पर राज करता था, जो बनी इसराईल पर अत्याचार करता था।

मूसा अलैहिस्सलाम की पैदाइश से पहले, फिरौन ने एक सपना देखा था जिसमें उसे बताया गया था कि बनी इसराईल में से एक बच्चा पैदा होगा जो उसके राज्य को खतरे में डालेगा। इस डर से उसने हुक्म दिया कि सभी नवजात इसराईली लड़कों को मार दिया जाए।

मूसा अलैहिस्सलाम की मां ने उन्हें बचाने के लिए उन्हें एक टोकरी में रखकर नील नदी में बहा दिया। टोकरी को फिरौन की पत्नी आसिया ने पाया और उन्होंने मूसा अलैहिस्सलाम को अपने बेटे के रूप में पाला।

नबुव्वत और फिरौन से मुकाबला

बड़े होकर, मूसा अलैहिस्सलाम को अल्लाह ने नबी के रूप में चुना। उन्हें अल्लाह से तौरात (धर्मग्रंथ) दी गई और उन्हें फिरौन से बनी इसराईल को मुक्त कराने का आदेश दिया गया। मूसा अलैहिस्सलाम ने फिरौन को अल्लाह की एकता का संदेश सुनाया और बनी इसराईल को छोड़ने के लिए कहा। फिरौन ने मूसा अलैहिस्सलाम की बात नहीं मानी और उनके और उनके अनुयायियों के खिलाफ अत्याचार जारी रखा।

समंदर का वाक़या

मूसा अलैहिस्सलाम और उनके अनुयायी फिरौन की सेना से भाग रहे थे। फिरौन की सेना ने उन्हें लाल सागर के किनारे पहुंचा दिया। मूसा अलैहिस्सलाम ने अल्लाह से प्रार्थना की और अल्लाह ने अपनी कुदरत से समंदर को दो भागों में विभाजित कर दिया। बनी इसराईल समंदर के बीच से सूखी ज़मीन पर निकल गए, जबकि फिरौन और उसकी सेना समंदर में डूब गए।

हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम की विरासत

हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम की कहानी और समंदर वाला वाक़्या- हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम को यहूदी धर्मईसाई धर्म और इस्लाम में एक महत्वपूर्ण पैगंबर माना जाता है। उनकी कहानियां और शिक्षाएं सदियों से लोगों को प्रेरित करती रही हैं और आज भी प्रासंगिक हैं। वे ईमान, धैर्य, और न्याय के लिए संघर्ष के प्रतीक हैं।

RELATED ARTICLES
0 0 votes
Article Rating
Subscribe
Notify of
guest

0 Comments
Inline Feedbacks
View all comments

Most Popular